Friday 4 September 2015

Energy of god

श्री राधा रानी जिन्हें भगवान श्री कृष्ण के महानतम भक्ति के रूप में जाना जाता है , यह भी कहा जाता है श्री राधा रानी आखिल ब्रमांड के नायक भगवान् श्री कृष्ण की भक्तिमय उर्चा (Devotional Energy ) जिसके बिना ब्रमांड की तमाम गतिविधि अपूर्ण है यंहा भक्ति की पराकास्ठा शव्दों में व्यक्त नही की जाती l
उनका नाम सदेव भगवान् कृष्ण से पहले आता है “राधा कृष्ण “ अगर यंहा से र हटा दिया जाये तोह आधा कृष्ण यही भक्ति की शक्ति है और नाम की महत्ता बिना राधा के कृष्ण आधा है और भगवान कृष्ण जो पूर्ण अवतार है उन्हें पूर्ण रूप यानी (राधा कृष्ण के रूप में )ही पूजा जाता है
एक अन्य शव्दों में पाए तोह राधा रानी भगवान श्री कृष्ण का विचार है जिसे “spiritual emotion “ (महाभाव) जो भक्ति की पराकास्ठा
भागवत गीता : अध्याय 12 श्लोक 8
श्री कृष्णा उवाच :- मायेव मन आधत्स्व मयि बुद्धि निवेशय l निवेसिषयासि मय्येव अत ऊध्व्र न संशय: ll
श्री कृष्ण ने कहा : हे अर्जुन अपना दयानं मेरी और केन्द्रित करो और अपनी मानसिक शक्तियों को मेरे अन्दर निहित कर दो इस प्रकार से तुम हमेशा मुझमे निवास करोगे बिना किसी शक के
हमे श्री कृष्ण को पूर्ण रूप से समर्पित कर देना चाहिये श्री कृष्ण इतने द्यायालू और भाबुक एवं भक्ति के प्रेमी है वह आपके एक दिन के समर्पण को भी स्वीकार कर लेंगे l
आप सभी को मेरी और से श्री कृष्ण जन्मोत्सव के हार्धिक शुभकामनाये ईश्वर आपकी हर मनोकामना को पूर्ण करे और आपके समपर्ण एवं भक्ति को स्वीकार करे

अनुराग शर्मा
मेल :-sharmaanu411@gmail.com
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